Hazaribagh News: हजारीबाग डेमोटांड स्थित Shrinivas Hospital के ब्लड बैंक के द्वारा सोमवार को रक्तदान प्रति लोगों के बीच जागरूकता फैलाया गया। इस दौरान ब्लड बैंक में रक्तदान करने वाले रक्तदाताओं व अस्पताल में मौजूद लोगों के बीच रक्तदान करते समय आवश्यक बातों को ध्यान में रखने हेतु ब्लड बैंक के टीम के द्वारा जागरूकता फैलाया गया।
इस मौके पर पार्थ कर्मकार (काउंसलर) ने कहा कि रक्तदान के तीन महीने बाद ही लोगों को रक्तदान करना चाहिए। रक्तदान के पहले रक्तदाता का पुरी तरह से जांच-पडताल के बाद ही रक्तदान करना चाहिए। रक्तदान करते समय दिल का दौरा, अलेर्जी, अस्थमा, लेप्रोसी, एपिलेप्सी, ट्यूबरक्लोसिस, थाइरोइड, पोल्य्सिटेमिअ, स्किन डिजीज, 1 साल के अंदर में डोनर टाइफाइड मलेरिया डेंगू या जॉन्डिस बीमारी शिकार का विवरण देखा जाता है।
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उन्होंने कहा कि रक्तदाता का 6 महीने के अंदर कोई गोदना/कान छेदना, दन्त चिकित्सा, चेचक, खसरा ये सब बीमारी का भी विवरण देखा जाता है। साथ ही कहा कि लोगों के बीच एक भ्रम फैला हुआ कि शुगर और बीपी से संबंधित मरीज रक्तदान नहीं कर सकते हैं। यह सरासर सही नहीं है बशर्ते संतुलित व नियमित रहने पर रक्तदान कर सकते हैं।
रक्तदान के तीन महीने बाद ही करें रक्तदान: पार्थ कर्मकार (काउंसलर)
श्रीनिवास ब्लड सेंटर इसके लिए पूरी टीम रक्तदान और मरीज को ब्लड देने में गुणवत्ता के साथ समझौता नहीं करता है, क्योंकि एक मरीज के साथ-साथ एक रक्तदाता का भी मुल्यवान दान होता है।