Saturday, November 23, 2024
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दुर्घटनाओं का रहा है लंबा इतिहास, हथिया बाबा मंदिर बनने से हुआ था नियंत्रण

कई दशक पूर्व यही दनुवा घाटी खेला करता था खूनी खेल

चौपारण, किशोर कुमार राणा: लगातार दनुवा घाटी में हो रहे दुर्घटनाओ से पदाधिकारियों सहित चौपारण वासियो के लिए चिंता का विषय बना हुआ। लाख कोशिशों के बावजूद दुर्घटनाओं का दौर रुकने का नाम ही नही ले रहा है। अब सवाल ये उठने लगा है कि आखिर दुर्घटना हो कैसे रहा है कही कोई दैविक शक्ति तो नही?

सवाल उठना भी लाजमी है कई दशक पूर्व जब सिंगल रोड हुआ करता था उस समय यही दनुवा घाटी में खूब खूनी खेल चला। जानकारों की माने तो ठीक इसी तरह का सड़क दुर्घटनाओं का दौरा था, औसतन प्रतिदिन कोई न कोई दुर्घटना का शिकार जरूर होता।

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कई लोगों को उस दौरान दनुवा घाटी ने अपने आगोश में लिया। लोगों की चिंता बढ़ती जा रही थी, लाख कोशिशों के बावजूद दुर्घटना रुकने का नाम ही नही ले रहा था। लोगों की माने तो उस वक्त हथिया बाबा मंदिर का निर्माण किया गया, तब से धीरे-धीरे लगातार दुर्घटना का दौर पर अंकुश लग गया।

आज हथिया बाबा मंदिर की प्रसिद्वि इस प्रकार है कि इधर से गुजरने वाले लगभग हर वाहन रुक कर हथिया बाबा के दर्शन करना नही भूलते।

कैसे हुआ हथिया बाबा मंदिर का निर्माण, क्या है रहस्य

स्थानीय लोगों ने बताया कि एक दिन हाथियों का झुंड दनुवा घाटी से सड़क के इस पार से उसपर हो रहा था तभी अचानक एक हाथी ट्रक के चपेट में आ गया और मौत के मुँह में समा गया। हाथी के मरने के बाद से लगातार सड़क दुर्घटना शुरु हो गया था। जो कई दिनों तक चलता जा रहा था तभी महानेटाँड निवासी महरु भुइयाँ के सपने में हाथी दुर्घटना वाला दृश्य सामने आने लगा।

महरु भुइयाँ ने गाँव वालों व आसपास के लोगों को इस परिघटना का जानकारी दिया। उस वक्त के लोगों ने महरु भुइयाँ के अगुवाई में मंदिर निर्माण का लिया निर्णय।

मंदिर बना और उसमें हाथी का मूर्ति स्थापित किया गया व हथिया बाबा मंदिर का नाम दिया गया। लोगों की माने तो मंदिर निर्माण के बाद से एक दम से दुर्घटना का दौर रुक सा गया था। फिलहाल महरु भुइयाँ के वंशज मंदिर में पूजा व देखरेख का कार्य करते है।

पुनः मंदिर निर्माण को लेकर चर्चा का बाजार गर्म

आज के समय मे पुनः दुर्घटनाओं का दौर जारी है, लाख कोशिशों के बावजूद दुर्घटना नही रुक रहा है। आज फिर से लोगों को लग रहा है कि कोई दैविक शक्ति दुर्घटना का कारण है। दबे जुबान से स्थानीय लोग हथिया बाबा मंदिर के दूसरे और मंदिर निर्माण की मांग को तेज कर रहे है। भला हो भी क्यों न लगभग दुर्घटना हथिया बाबा मंदिर के दूसरे तरफ वाला रोड में हो रहा है।

समाजसेवी प्रमेश्वर यादव ने कहा कि मंदिर निर्माण से लोग मंदिर में रुकेंगे पुजा पाठ करने के बाद निकलेंगे जिससे दुर्घटना कम हो जाएगा।

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